नारकोटिक ड्रग्स एंड साइकोट्रॉपिक सब्सटेंस (NDPS) अधिनियम के अंतर्गत एक महत्वपूर्ण निर्णय में माननीय न्यायालय ने कांशी राम, निवासी गाँव सारणी, डाकघर बल्ह, जिला मण्डी, हिमाचल प्रदेश को दोषी करार देते हुए 12 वर्ष के कठोर कारावास और ₹1,20,000/- के आर्थिक दंड की सजा सुनाई है। जुर्माना न भरने की स्थिति में आरोपी को एक वर्ष का साधारण कारावास भुगतना होगा।
घटना की जानकारी देते हुए जिला न्यायवादी, विनोद भारद्वाज; जिन्होंने इस मामले की पैरवी की है, ने बताया कि दिनांक 22.09.2017 को, पुलिस टीम जिसमें मुख्य आरक्षी चमन लाल के नेतृत्व में एचसी रूप लाल, एचएचसी हुकम चंद, एचएचसी सुरेंद्र, कांस्टेबल करम सिंह और कांस्टेबल महेंद्र सिंह शामिल थे, ने सरकारी वाहन नंबर HP 34-A-8047 में गश्त और नाकाबंदी हेतु प्रस्थान किया। वाहन का संचालन कांस्टेबल रवि कुमार द्वारा किया जा रहा था। लगभग शाम 5:40 बजे, टीम द्वारा डायना पार्क के पास नाका लगाया गया। इस दौरान एक टाटा सुमो को जांच के लिए रोका गया। वाहन में चालक रवि कांत, अगली सीट पर अजय कुमार, और पीछे की सीट पर जगदेव तथा कांशी राम सवार थे। पीछे बैठे यात्रियों की गोद में रक्सैक बैग थे।
संदेह होने पर की गई तलाशी में आरोपी कांशी राम के बैग से एक सफेद थैली में तीन पॉलीथीन पैकेट बरामद हुए। इन पैकेटों में काली रंग की स्टिक जैसी वस्तु पाई गई, जो पुलिस अनुभव के अनुसार चरस पाई गई।
बरामद चरस का कुल वजन 3.012 किलोग्राम था। बरामदगी और सीलिंग की कार्रवाई पुलिस टीम व स्वतंत्र गवाहों की उपस्थिति में विधिवत पूरी की गई। एनसीबी-1 फॉर्म की त्रैविध प्रतियाँ तैयार की गईं, और सभी आवश्यक प्रक्रियाएँ पूरी की गईं। जांच अधिकारी द्वारा मामले की गहन जांच कर चालान माननीय न्यायालय में प्रस्तुत किया गया।
इस मामले में अभियोजन पक्ष ने 13 गवाहों के कलमबंद करवाए थे । विस्तृत सुनवाई एवं गवाहों के बयानों के आधार पर माननीय न्यायालय ने कांशी राम को एनडीपीएस अधिनियम की धारा 20 के अंतर्गत दोषी पाते हुए निम्नलिखित सजा सुनाई:
- 12 वर्ष का कठोर कारावास
- ₹1,20,000/- (एक लाख बीस हजार रुपये) का जुर्माना
- जुर्माना अदा न करने पर 1 वर्ष का साधारण कारावास

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