संख्या 65, कुल्लू 1 अगस्त
जिला मुख्यालय में गुरुवार को पशुपालन विभाग की ओर से भारत के पशुपालन क्षेत्र का आधुनिकीकरण, गुणवत्तापूर्ण उत्पादन के लिए बैठक आयोजित की गई। बैठक अतिरिक्त उपायुक्त अश्विनी कुमार की अध्यक्षता में हुई।
उन्होंने कहा कि जिले में सहकारी सभाओं के स्तर पर देसी नस्ल के डेयरी फार्म स्थापित किए जाएं, ताकि स्थानीय स्तर पर दूध उत्पादन को बढ़ावा मिल सके। उन्होंने यह भी सुझाव दिया कि पशुओं की दवाइयां उचित मूल्य पर उपलब्ध करवाने के लिए सहकारी समितियां आगे आएं, जिससे किसानों को कम लागत पर उपचार मिल सके। कार्यशाला के अंत में पशुपालकों से प्राप्त सुझावों और फीडबैक को संकलित किया गया। विभाग और जिला प्रशासन अनुमोदन के बाद उन्हें राज्य सरकार को भेजेगा, ताकि आने वाली योजनाएं किसानों की आवश्यकताओं के अनुरूप तैयार की जा सकें।
बैठक में बताया गया कि आधुनिक तकनीकों और वैज्ञानिक तरीकों से पशुपालन को न सिर्फ लाभकारी बनाया जा सकता है, बल्कि गुणवत्तापूर्ण दूध उत्पादन भी सुनिश्चित किया जा सकता है। पौष्टिक आहार और उचित देखभाल से पशुओं की दूध उत्पादकता कई गुना बढ़ाई जा सकती है। पशुपालकों ने विभागीय योजनाओं के क्रियान्वयन में आ रही समस्याओं को साझा किया।
बैठक में सहायक निदेशक पशुपालन विभाग डॉक्टर संजय ठाकुर, उप निदेशक अरुण शर्मा, जिले की विभिन्न पंचायतों से आए प्रतिनिधि, दुग्ध सहकारी सभाओं के पदाधिकारी और विभागीय अधिकारी उपस्थित रहे ।
0 Comments